राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।
सुरक्षित
अपील सं0-673/2015
(जिला उपभोक्ता आयोग, जौनपुर द्वारा परिवाद सं0-344/2005 में पारित प्रश्नगत निर्णय एवं आदेश दिनांक 18-02-2015 के विरूद्ध)
टाटा मोटर्स लिमिटेड, हेविंग रजिस्टर्ड आफिस, बाम्बे हाउस, 24, होमी मोदी स्ट्रीट, मुम्बई 400 001 इन्टीरिया ब्रांच आफिस पिम्परी, पुणे-18, महाराष्ट्र, द्वारा मैनेजर।
...........अपीलार्थी/विपक्षी सं0-4.
बनाम
- सुभाष पाण्डेय, पुत्र श्री रामनाथ पाण्डेय, निवासी आनन्द आश्रम, मुंगराबाद शाहपुर, (प्रतापगढ़ मार्ग), जौनपुर, 305, कुबेर काम्प्लेक्स, न्यू लिंक रोड़, अन्धेरी वेस्ट, मुम्बई।
............ प्रत्यर्थी/परिवादी।
- टाटा मोटर्स सेल्स लिमिटेड, 31 महात्मा गांधी मार्ग, नियर सेन्ट्रल बैंक आफ इंडिया, सिविल लाइन्स, इलाहाबाद, द्वारा मैनेजर
- टाटा मोटर्स सेल्स लिमिटेड 11ए महात्मा गांधी मार्ग, हजरतगंज लखनऊ द्वारा मैनेजर।
- टाटा मोटर्स सेल्स लिमिटेड इलाहाबाद वाराणसी मार्ग, फाफामऊ, इलाहाबाद द्वारा मैनेजर।
............ प्रत्यर्थीगण/विपक्षीगण।
समक्ष:-
1. मा0 श्री राजेन्द्र सिंह, सदस्य।
2. मा0 श्री सुशील कुमार, सदस्य।
अपीलार्थी की ओर से उपस्थित: श्री राजेश चड्ढा विद्वान अधिवक्ता।
प्रत्यर्थीगण की ओर से उपस्थित : कोई नहीं।
दिनांक : 31-05-2023.
मा0 श्री राजेन्द्र सिंह, सदस्य द्वारा उदघोषित
निर्णय
यह अपील, जिला उपभोक्ता आयोग, जौनपुर द्वारा परिवाद सं0-344/2005 में पारित प्रश्नगत निर्णय एवं आदेश दिनांक 18-02-2015 के विरूद्ध योजित की गयी है।
संक्षेप में अपीलार्थी का कथन है कि इस मामले में प्रत्यर्थी द्वारा क्रय किए गए वाहन में किसी प्रकार का दोष नहीं था और न ही कोई निर्माण सम्बन्धी दोष था। परिवादी ने वाहन इलाहाबाद से क्रय किया और सारी सेवाऐं इलाहाबाद वर्कशाप से ली जानी थीं किन्तु परिवाद जिला जौनपुर में प्रस्तुत किया गया जो क्षेत्राधिकार से बाधित है।
वाहन में किसी प्रकार का निर्माण सम्बन्धी दोष नहीं था जैसा कि प्रस्तुत सर्विस चार्ट/सर्विस हिस्ट्री से मालूम होता है। यह वाहन दिनांक 24-03-2011 तक 104312 किलोमीटर चल चुका है। टाटा सफारी वाहन दिनांक 17-09-2004 को क्रय किया गया अर्थात् 07 वर्ष में यह वाहन 104312 किलोमीटर चल चुका है। विद्वान जिला आयोग ने इन तथ्यों पर ध्यान नहीं दिया गया और परिवादी को 1,50,000/- रू0 बतौर क्षतिपूर्ति दिलाया गया।अत: माननीय राज्य आयोग से निवेदन है कि विद्वान जिला आयोग का प्रश्नगत निर्णय अपास्त करते हुए अपील स्वीकार की जाए।
हमारे द्वारा अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता की बहस विस्तार से सुनी गई तथा पत्रावली का सम्यक रूप से परिशीलन किया गया। प्रत्यर्थीगण की ओर से कोई उपस्थित नहीं हुआ।
वर्तमान मामले में निर्माण सम्बन्धी दोष के सम्बन में कोई विशेषज्ञ आख्या नहीं है। सर्विस हिस्ट्री का हमने अवलोकन किया। इस वाहन की पहली सर्विस दिनांक 06-04-2005 को कराई गई थी तब यह 5106 किलोमीटर चल चुका था। दिनांक 17-09-2004 को यह वाहन क्रय किया गया था। वाहन की प्रथम सर्विस हमेश एक माह पश्चात् होती है किन्तु इस वाहन को एक माह पश्चात् सर्विस के लिए प्रस्तुत नहीं किया गया। वारण्टी की यह शर्त होती है कि वाहन वाहन को नियमों के अन्तर्गत नियत समय पर सर्विस के लिए प्रस्तुत किया जाए अन्यथा वारण्टी मान्य नहीं होती है।
इस मामले में सर्विस हिस्ट्री दिनांकित 24-03-2011 पत्रावली में लगी है जिसमें उक्त तिथि तक वाहन 104312 किलोमीटर चल चुका था। यदि वाहन में निर्माण सम्बन्धी दोष होता तो वाहन कभी भी एक लाख किलोमीटर ही नहीं चल सकता था। अत: स्पष्ट है कि इस वाहन में कोई निर्माण सम्बन्धी दोष नहीं था और इसमें जो छोटी-मोटी त्रुटियॉं थीं जिनका निराकरण किया गया। विद्वान जिला आयोग को इन तथ्यों को देखना चाहिए था, जो नहीं देखें।
अत: ऐसी स्थिति में हम इस निष्कर्ष पर पहुँचते हैं कि विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित प्रश्नगत निर्णय एवं आदेश विधि सम्मत नहीं है और अपास्त होने योग्य है। तदनुसार वर्तमान अपील स्वीकार किए जाने योग्य है।
आदेश
वर्तमान अपील स्वीकार की जाती है। जिला उपभोक्ता आयोग, जौनपुर द्वारा परिवाद सं0-344/2005 में पारित प्रश्नगत निर्णय एवं आदेश दिनांक 18-02-2015 अपास्त किया जाता है।
अपील व्यय उभय पक्ष पर।
इस आयोग के निबन्धक से अपेक्षा की जाती है कि वर्तमान अपील योजित किए जाते समय धारा-15 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के अन्तर्गत अपीलार्थी द्वारा जमा सम्पूर्ण धनराशि अर्जित ब्याज सहित अपीलार्थी के पक्ष में विधि अनुसार एक माह में अवमुक्त कर दी जाए।
उभय पक्ष को इस निर्णय की प्रमाणित प्रति नियमानुसार उपलब्ध
करायी जाय।
वैयक्तिक सहायक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दें।
(सुशील कुमार) (राजेन्द्र सिंह)
सदस्य सदस्य
निर्णय आज खुले न्यायालय में हस्ताक्षरित, दिनांकित होकर उद्घोषित किया गया।
(सुशील कुमार) (राजेन्द्र सिंह)
सदस्य सदस्य
दिनांक : 31-05-2023.
प्रमोद कुमार,
वैय0सहा0ग्रेड-1,
कोर्ट नं.-2.