(मौखिक)
राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ
अपील संख्या-1902/2010
Krishna Swaroop Vs. S.B.I. Card Customer Service & other
दिनांक : 18.12.2024
माननीय श्रीमती सुधा उपाध्याय, सदस्य द्वारा उदघोषित
निर्णय
परिवाद संख्या-1134/2008, कृष्ण स्वरूप बनाम एस0बी0आई0 व अन्य में विद्वान जिला आयोग, कानपुर नगर द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 15.09.2010 के विरूद्ध प्रस्तुत की गई अपील पर केवल अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता श्री आलोक सिन्हा के तर्क को सुना गया। प्रत्यर्थीगण की ओर से कोई उपस्थित नहीं है। प्रश्नगत निर्णय/आदेश एवं पत्रावली का अवलोकन किया गया। जिला उपभोक्ता आयोग ने परिवाद इस आधार पर खारिज किया है कि परिवादी द्वारा व्यवसाय के संबंध में क्रेडिट कार्ड का प्रयोग किया गया है, इसलिए उपभोक्ता परिवाद संधारणीय नहीं है।
परिवाद के तथ्यों के अनुसार परिवादी द्वारा विपक्षी बैंक से क्रेडिट कार्ड व्यवसाय के उद्देश्य से प्राप्त किया गया। वह व्यवसाय के लिए इस कार्ड का प्रयोग करते रहे तथा बैंक के पैसे का प्रयोग किया जाता रहा, इसके बाद क्रेडिट कार्ड की क्षमता बढ़ा दी गयी और विपक्षी बैंक द्वारा एक ही दिन में दो-तीन बार ब्याज लगाया गया है तथा सर्विस चार्ज या अन्य चार्ज भी जोड़े गये हैं। आगे उल्लेख किया गया है कि परिवादी ने व्यापार में नुकसान होने के कारण धनराशि को जमा नहीं किया, चूंकि परिवादी ने स्वयं स्वीकार किया है कि वह समय पर इस धनराशि को जमा नहीं कर पाता था, इसलिए नियमों के तहत बैंक ब्याज अधिरोपित कर सकते थे। स्वयं परिवादी की स्वीकृति स्थापित है कि परिवादी द्वारा संविदा के अनुसार अपने दायित्व का पालन नहीं किया गया, इसलिए बैंक द्वारा सेवा में कोई कमी नहीं की गयी। इस आधार पर परिवादी के पक्ष में कोई आदेश जारी नहीं किया जा सकता। तदनुसार अपील खारिज होने योग्य है।
आदेश
प्रस्तुत अपील खारिज की जाती है। जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा पारित निर्णय/आदेश पुष्ट किया जाता है।
प्रस्तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्त जमा धनराशि मय अर्जित ब्याज सहित संबंधित जिला उपभोक्ता आयोग को यथाशीघ्र विधि के अनुसार निस्तारण हेतु प्रेषित की जाए।
आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय एवं आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।
(सुधा उपाध्याय)(सुशील कुमार)
संदीप सिंह, आशु0 कोर्ट 2